पूर्व PM मनमोहन सिंह के निधन से शोक में डूबा भारत, देश में आर्थिक सुधारों को लागू करने का दिया जाता है श्रेय

देश के पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का गुरुवार रात निधन हो गया। प्रख्यात अर्थशास्त्री और दो बार देश के प्रधानमंत्री रहे कांग्रेस नेता मनमोहन सिंह ने 92 वर्ष की आयु में दिल्ली के एम्स में आखिरी सांस ली।

Updated: Dec 26, 2024, 11:37 PM IST

नई दिल्ली। देश के पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का गुरुवार देर शाम दिल्ली के एम्स में निधन हो गया। 92 वर्षीय मनमोहन सिंह की अचानक तबीयत बिगड़ने के बाद उन्हें गुरुवार रात करीब 8 बजे दिल्ली के एम्स अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में भर्ती कराया गया। यहां 9.51 बजे उन्होंने आखिरी सांस ली। सिंह के निधन से देशभर में शोक का लहर दौड़ गया है। 

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने उनके निधन पर शोक व्यक्त किया है। उन्होंने एक्स पर लिखा, 'मनमोहन सिंह जी ने अपार ज्ञान और निष्ठा के साथ भारत का नेतृत्व किया। उनकी विनम्रता और अर्थशास्त्र की गहरी समझ ने राष्ट्र को प्रेरित किया। श्रीमती कौर और उनके परिवार के प्रति मेरी हार्दिक संवेदना। मैंने एक गुरु और मार्गदर्शक खो दिया है। हममें से लाखों लोग जो उनकी प्रशंसा करते थे, उन्हें अत्यंत गर्व के साथ याद करेंगे।' 

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने एक्स पर लिखा, 'निःसंदेह, इतिहास आपका दयालु मूल्यांकन करेगा, डॉ. मनमोहन सिंह जी! पूर्व प्रधानमंत्री के निधन से भारत ने एक दूरदर्शी राजनेता, बेदाग सत्यनिष्ठ नेता और अद्वितीय कद का एक अर्थशास्त्री खो दिया है। आर्थिक उदारीकरण और अधिकार-आधारित कल्याण प्रतिमान की उनकी नीति ने करोड़ों भारतीयों के जीवन को गहराई से बदल दिया, वस्तुतः भारत में एक मध्यम वर्ग का निर्माण किया और करोड़ों लोगों को गरीबी से बाहर निकाला।'

सिंह के निधन पर पीएम मोदी ने X पर लिखा, 'भारत अपने सबसे प्रतिष्ठित नेताओं में से एक डॉ. मनमोहन सिंह जी के निधन पर शोक मना रहा है। साधारण पृष्ठभूमि से उठकर वे एक प्रतिष्ठित अर्थशास्त्री बने। उन्होंने वित्त मंत्री समेत कई पदों पर काम किया। सालों तक हमारी आर्थिक नीति पर अपनी गहरी छाप छोड़ी। संसद के अंदर उनका योगदान बहुत ही महत्वपूर्ण है। हमारे प्रधानमंत्री के रूप में उन्होंने लोगों के जीवन को बेहतर बनाने के लिए व्यापक प्रयास किए।' 

PM ने एक और पोस्ट में लिखा है, 'जब डॉ. मनमोहन सिंह जी प्रधानमंत्री थे और मैं गुजरात का मुख्यमंत्री था, तब हम रोजाना बातचीत करते थे। हम शासन से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर गहन चर्चा करते थे। उनकी बुद्धिमत्ता और विनम्रता हमेशा देखने को मिलती थी।इस दुख की घड़ी में मेरी संवेदनाएं डॉ मनमोहन सिंह जी के परिवार, उनके मित्रों और असंख्य प्रशंसकों के साथ हैं। ओम शांति'

पूर्व पीएम मनमोहन सिंह 2004 से लेकर 2014 तक देश के प्रधानमंत्री रहे। इसी साल वह राज्यसभा से रिटायर हुए, जिसके साथ ही 33 वर्षों के बाद उच्च सदन में उनकी राजनीतिक पारी समाप्त हो गई। भारत के पहले सिख प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने जून 1991 में पीवी नरसिम्हा राव के नेतृत्व वाली सरकार में वित्त मंत्री के रूप में शपथ लेने के चार महीने बाद 1991 में राज्यसभा में प्रवेश किया था। उन्होंने उच्च सदन में पांच बार असम का प्रतिनिधित्व किया और 2019 में राजस्थान से राज्यसभा के लिए चुने गए। उन्हें देश में अहम आर्थिक सुधारों का श्रेय दिया जाता है।

मनमोहन सिंह का जन्म 26 सितंबर 1932 को हुआ था। 1947 में विभाजन के बाद उनका परिवार भारत आया था। मनमोहन सिंह ने पंजाब विश्वविद्यालय में अर्थशास्त्र की पढ़ाई की थी। डॉ. मनमोहन सिंह चोटी के अर्थशास्त्री रहे हैं। देश की अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने में उनका अहम योगदान रहा है। देश में महत्वपूर्ण आर्थिक सुधारों का खाका तैयार करने और उन्हें लागू करने में पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की बड़ी भूमिका रही है।