लॉकडाउन खत्म करने की जरूरत
राहुल गांधी ने कहा है कि हम कोरोना से हार जाएंगे अगर सबकुछ सिर्फ पीएम ऑफिस से संचालित होगा।कोरोना से लड़ने के लिए विकेंद्रीकृत व्यवस्था पर भरोसा करना होगा

कांग्रेस पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा कि यह वक्त आलोचना का नहीं है बल्कि हमें लॉकडाउन खोलने की रणनीति की जरूरत है.
राहुल गांधी ने यह बात एक वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में कही. वे पत्रकारों के सवालों का जवाब दे रहे थे.
लॉकडाउन खोलने को लेकर राहुल गांधी ने कहा कि इसे कई फेज़ेज़ में खोलना चाहिए। ट्रांजीशन के जरिए खोला जाना चाहिए लॉकडाउन। और केंद्र सरकार, राज्य सरकारों और स्थानीय प्रशासन के बीच समन्वय होना चाहिए.
उन्होंने लॉकडाउन खोलने से जुड़े एक सवाल के जवाब में कहा, ''सरकार को लोगों को बताना चाहिए कि हम इसके लिए किन क्राइटेरिया का इस्तेमाल करेंगे. अगर ये क्राइटेरिया मिलते हैं तो हम लॉकडाउन खोलेंगे.
राहुल गांधी ने कहा कि अब लॉकडाउन खोलने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि अगर आप किसी कारोबारी से पूछेंगे तो वो बताएंगे कि हमारी सप्लाई चेन रेड, ऑरेंज और ग्रीन जोन से निकलती है. स्वास्थ्य और आर्थिकी के हिसाब से लॉकडाउन को खोलने की जरूरत है.
उन्होंने यह भी कहा कि वे केंद्र सरकार से अनुरोध करेंगे कि राज्य सरकारों और जिलाधिकारियों को अपने सहयोगियों के रूप में देखें और फैसलों को केंद्रीकृत ना करें.
साथ ही राहुल गांधी ने कहा कि गरीब लोगों और छोटे कारोबारों की मदद करने की जरूरत है, हमें उनको भरोसा दिलाना है और उन्हें प्रोटेक्ट करना है.
उन्होंने कहा कि आज न्याय योजना के विचार को आगे लाने की जरूरत है ताकि गरीबों की हाथ में पैसा पहुंचाया जा सके.
रोजगार के बारे में भी राहुल गांधी ने टिप्पणी की. उन्होंने कहा हम अपने जॉब क्रिएटर्स को बस डूबने के लिए छोड़ दें, यह सही नहीं है. हमें उनके लिए 1 लाख करोड़ रुपये की वेज प्रोटेक्शन स्कीम लानी होगी, MSME के लिए 1 लाख करोड़ रुपये की क्रेडिट गारंटी स्कीम सुनिश्चित करनी होगी.
उन्होंने कहा कि जब हम भारत के बिजनेस सिस्टम की बात करते हैं तो हम सिर्फ MSME की ही बात नहीं कर सकते क्योंकि MSME और बड़े कारोबारों के बीच भी लिंक है.
प्रवासी मजदूरों के मौजूदा संकट को लेकर उन्होंने कहा, ''राज्यों के बीच में बातचीत होनी चाहिए, केंद्र को इसे सुपरवाइज करना चाहिए. प्रवासियों के अधिकारों का भी ध्यान रखा जाना चाहिए.''