सुनील गावस्कर: टेस्ट मैच की दोनों पारियों में सौ रन बनाने वाले की मानी जाए सेंचुरी

गावस्कर ने ऐसा तब कहा, जब वे कमेंट्री बॉक्स में बैठे थे, ईशांत शर्मा ने अपनी हैट्रिक बॉल गंवा दी थी

Updated: Feb 06, 2021, 11:52 AM IST

Photo Courtesy : MyKhelhindi
Photo Courtesy : MyKhelhindi

नई दिल्ली। भारतीय टीम के पूर्व क्रिकेटर सुनील गावस्कर की राय में एक टेस्ट मैच की दो अलग अलग पारियों में कुल सौ रन बनाने वाले बल्लेबाज़ के स्कोर की गिनती उसके शतक में होनी चाहिए। मसलन, अगर कोई बल्लेबाज़ एक ही टेस्ट मैच की दो अलग अलग पारियों में बनाए गए रन की मदद से सौ रन के आंकड़े को छू लेता है तो उसके स्कोर को शतक में काउंट किया जाना चाहिए। हालांकि गावस्कर ने इसके लिए पहली पारी में बल्लेबाज़ का नॉट आउट रहना ज़रूरी बताया है। गावस्कर के मुताबिक यह फार्मूला तभी लागू करना चाहिए जब पहली पारी में बल्लेबाज़ नाबाद रहते हुए मैदान को छोड़ कर गया हो। 

दरअसल गावस्कर ने यह बात उस समय कही जब वे भारत और इंग्लैंड के बीच चेन्नई के चेपॉक स्टेडियम में चल रहे पहले मैच की कमेंट्री कर रहे थे। इंग्लैंड की पारी का 170 वां ओवर चल रहा था। ईशांत शर्मा अपना 24वां ओवर डाल रहे थे। ईशांत ने अपने ओवर की दूसरी और तीसरी गेंद पर पहले बटलर और फिर जोफ्रा आर्चर को क्लीन बोल्ड कर दिया। अब ईशांत के पास हैट्रिक लेने का मौका था। सामने बाएं हाथ के बल्लेबाज़ जैक लीच थे। ईशांत शर्मा गेंद करने के लिए आगे बढ़े और विकेट लेने में नाकाम रहे। लेकिन ऑन फील्ड अंपायर ने उस गेंद को नो बॉल करार दे दिया। 

गेंद तो नो बॉल करार हो गई लेकिन ईशांत शर्मा ने अपना हैट्रिक चांस गंवा दिया था। इसी पर कमेंट्री बॉक्स में बैठे गावस्कर ने टेस्ट क्रिकेट में गेंदबाज की हैट्रिक और बल्लेबाज़ के शतक को लेकर नियमों में काफी अंतर होने का मुद्दा उठाया। लिटिल मास्टर ने कहा कि जैसे गेंदबाज के पास पहली पारी में लगातार दो गेंद पर विकेट लेने के बाद अगली पारी में हैट्रिक लेने का मौका रहता है, कुछ ऐसा ही नियम पहली पारी में नॉट आउट रहने वाले बल्लेबाज़ के लिए भी होना चाहिए। 

दरअसल नियमों के मुताबिक अगर पहली पारी में गेंदबाज़ी करने वाले गेंदबाज ने लगातार दो गेंद पर विकेट ले लिए, और उसी गेंदबाज ने अगली पारी में पहली गेंद पर विकेट ले लिया तो उसकी हैट्रिक मानी जाएगी। गावस्कर ने एक उदाहरण देते हुए कहा कि इसी तर्ज़ पर अगर कोई बल्लेबाज़ अपनी पहली पारी में नाबाद 24 रन बनाता है और अपनी अगली पारी में 76 रन बना लेता है, तो उसे शतक मानना चाहिए। क्रिकेट इतिहास में सबसे पहले दस हज़ार रन बनाने वाले गावस्कर ने कहा कि अगर ऐसा नहीं हो सकता, तो गेंदबाज के लिए भी नियम में बदलाव करने चाहिए। गेंदबाज के लिए भी हैट्रिक तभी मानी जाए जब उसने लगातार तीन गेंदों पर तीन विकेट एक ही पारी में लिए हों।