John Lewis : नहीं रहे नागरिक अधिकार आंदोलन के पुरोधा
Pm Narendra Modi : गांधीवादी मूल्यों और अहिंसा के मार्ग पर चलनेवाले थे जॉन लुइस, उनकी विरासत हमेशा कायम रहेगी और प्रेरणा देती रहेगी

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अमेरिकी सांसद और नागरिक अधिकारों के पैरोकार जॉन लुइस के निधन पर शोक जताते हुए कहा कि उनकी विरासत कायम रहेगी और प्रेरित करती रहेगी। मोदी ने ट्वीट किया है कि ‘‘हम नागरिक अधिकारों, अहिंसा और गांधीवादी मूल्यों के पुरोधा अमेरिकी सांसद जॉन लुइस के निधन पर शोक जताते हैं। उसकी विरासत दीर्घकाल तक रहेगी और प्रेरित करती रहेगी।’’
We mourn the loss of US Congressman John Lewis, a champion of civil rights, non-violence and Gandhian values. His legacy will continue to endure and inspire.
— Narendra Modi (@narendramodi) July 19, 2020
वहीं अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने नागरिक अधिकारों के लिए आंदोलन करने वाले सांसद जॉन लुइस के निधन पर शोक व्यक्त किया है। ट्रंप ने ट्वीट किया कि ‘‘मानवाधिकार के पुरोधा जॉन लुइस के निधन की खबर से दुखी हूं। मेलानिया और मेरी संवेदनाएं परिवार के साथ हैं।’’
ट्रंप के संवेदना व्यक्त करने से पहले सभी जीवित चार पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपतियों, उपराष्ट्रपति माइक पेंस और बड़ी संख्या में सांसदों ने लुइस के निधन पर शोक व्यक्त कर दिया था।
अलबामा के सेल्मा में 50 साल पहले एडमंड पेट्टस ब्रिज पर लुइस के साथ बुरी तरह मारपीट हुई थी और इस घटना के बाद देश में नागरिक अधिकार आंदोलन ने तेजी पकड़ी थी। ट्रंप और लुइस के बीच वैचारिक मतभेद थे और दोनों ने कई बार सार्वजनिक तौर पर एक दूसरे पर निशाना भी साधा था। ट्रंप के राष्ट्रपति चुने जाने के बाद लुइस ने कहा था कि वह ट्रंप को ‘‘वैध राष्ट्रपति’’ नहीं मानते।
लुइस के निधन पर तत्काल शोक व्यक्त नहीं करने के लिए ट्रंप की आलोचना भी हुई थी। लुइस ने दिसंबर 2019 में कैंसर से पीड़ित होने की घोषणा की थी। नागरिक अधिकारों के लिए आंदोलन करने वाले सांसद लुइस का कैंसर के कारण निधन हो गया। वह 80 वर्ष के थे।
लुइस नागरिक अधिकारों के लिए आंदोलन करने वाले ‘बिग सिक्स’ नागरिक अधिकार कार्यकर्ताओं में से एक थे। आंदोलन करने वाले समूह का नेतृत्व मार्टिन लूथ किंग जूनियर ने किया था।