विश्वास सारंग का दावा, ऑक्सीजन की कमी के कारण नहीं हुई शहडोल मेडिकल कॉलेज में भर्ती मरीजों की मौत

शहडोल मीडिल कॉलेज में शनिवार देर रात ऑक्सीजन की किल्लत के कारण 6 लोगों की मृत्यु होने की बात सामने आई थी, इसके साथ ही शनिवार दिन में भी दस मरीजों की मौत की बात कही जा रही थी, लेकिन विश्वास सारंग ने यह दावा किया है कि किसी भी मरीज़ की मौत ऑक्सीजन की कमी के कारण नहीं हुई

Updated: Apr 18, 2021, 12:31 PM IST

Photo Courtesy: Zeenews
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भोपाल। शहडोल मेडिकल कॉलेज में शनिवार देर रात ऑक्सीजन की कमी से हुई 12 मरीजों की मौत के दावे को शिवराज सरकार में चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग ने खारिज किया है। विश्वास सारंग ने यह दावा किया है कि अस्पताल में एक भी मरीज़ की मौत ऑक्सीजन की कमी से नहीं हुई है। मंत्री के मुताबिक मरने वाले सभी मरीज़ पहले से ही क्रिटिकल कंडीशन में थे। उनकी हालत पहले से ही बहुत खराब थी। 

हालांकि अपने इस दावे से विपरीत जाते हुए विश्वास सारंग ने यह भी कहा है कि अस्पताल में हुई मौत के मामले की जांच की जाएगी। अब ऐसे में सवाल यह उठ रहे हैं कि जब विश्वास सारंग को इस बात का पूरा विश्वास है कि अस्पताल में किसी भी मरीज़ की मौत ऑक्सीजन की कमी के कारण नहीं हुई है तब वे अस्पताल में हुई मौतों पर जांच करने की बात आखिर क्यों कह रहे हैं?

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दूसरी तरफ विभिन्न मीडिया रिपोर्ट्स में अस्पताल के डीन डॉ मिलिंद शिरालकर के ही हवाले से यह कहा गया था कि बीती रात ऑक्सीजन की कमी से अस्पताल में भर्ती 6 मरीजों की मौत हो गई। दरअसल विभिन्न मीडिया रिपोर्ट्स में इस बात का उल्लेख किया गया है कि शनिवार और रविवार की दरमियानी रात करीब 12.30 बजे ऑक्सीजन की कमी से अस्पताल में दो मरीजों की मौत हुई थी। रात करीबन ढाई बजे मरीजों की मौत का आंकड़ा 6 पहुंच गया था। वहीं सुबह होते होते यह खबर आई कि ऑक्सीजन की कमी से अस्पताल में भर्ती कुल 12 मरीजों की मौत हो गई। 

दावों के मुताबिक शहडोल के अस्पताल में शनिवार रात करीब 11 बजे एक ऑक्सीजन टैंकर को पहुंचना था। लेकिन शहडोल आते समय टैंकर दमोह में खराब हो गया। जिस वजह से टैंकर को अस्पताल पहुंचने में देर हो गई। इधर अस्पताल में कमी के चलते दम घुटने की वजह से मरीजों की जान चली गई। 

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शहडोल में हुई मौतों के बाद कांग्रेस के तमाम नेता शिवराज सरकार पर प्रदेश की लचर स्वास्थ्य व्यवस्था पर हमलावर हैं। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और उनकी सरकार की कार्यशैली पर जमकर सवाल खड़े हो रहे हैं।