भारत में कोरोना से 42 लाख लोगों की मौत, सरकार ने न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट को बताया मनगढ़ंत

पांच लोग बैठे, फोन मिलाया और मनगढ़ंत रिपोर्ट छाप दी, न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट पर केंद्र का पलटवार, अखबार का अनुमान- भारत में कोरोना से 42 लाख लोगों की हुई मौत

Updated: May 28, 2021, 06:25 AM IST

Photo Courtesy: BBC
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नई दिल्ली। भारत में कोरोना वायरस से हुए मौतों का  आंकड़ा कई गुना कम बताया जा रहा है। देश के कई राज्यों से मौत के वास्तविक डेटा सामने आ रहे हैं, जो सरकारी आंकड़ों से कई गुना ज्यादा हैं। इसी बीच प्रतिष्ठित अमेरिकी अखबार ने एक रिपोर्ट में बताया है कि भारत में कोरोना से 42 लाख लोगों की मौतें हुई है। अब केंद्र सरकार ने इस रिपोर्ट को फर्जी और मनगढ़ंत करार दिया है। 

दरअसल, न्यूयॉर्क टाइम्स ने दर्जनों एक्सपर्ट्स से परामर्श करके भारत में कोरोना संक्रमण और मौत के आंकड़ों के साथ लार्ज स्केल एंटीबॉडी टेस्ट के नतीजों का विश्लेषण किया है। रिपोर्ट में तीन स्थितियों (सामान्य स्थिति, खराब स्थिति और बेहद खराब स्थिति) का जिक्र है। इन तीनों स्थितियों में कुल मौत का वास्तविक आंकड़ा सरकारी आंकड़ों से कई गुना ज्यादा है। रिपोर्ट के मुताबिक सामान्य स्थिति में भी देश में 6 लाख से ज्यादा मौतें हुईं हैं। वहीं बेहद खराब स्थित में 42 लाख लोगों की मौत का अनुमान है। हालांकि, सरकारी आंकड़ों में महज 3 लाख 15 हजार मौत दर्ज हैं।

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न्यूयॉर्क टाइम्स की इस रिपोर्ट को लेकर कोविड-19 टास्क फोर्स के प्रमुख व नीति आयोग के सदस्य डॉ वी के पॉल ने कहा, 'अखबार की इस रिपोर्ट के पीछे कोई ठोस सबूत नहीं है। इसे मनगढ़ंत और तोड़े-मरोड़े गए अनुमानों के आधार पर लिखा गया है।' उन्होंने तंज लहजे में कहा कि यह बिल्कुल वैसा ही है कि पांच दूषित सोच वाले लोग जुटे, फोन मिलाया और बैठकर सबके सामने आंकड़ा फेंक दिया। ये रिपोर्ट भी ऐसे ही लिखी गई है।

हालांकि डॉ पॉल को स्वीकारना पड़ा है कि संक्रमण के मामले आधिकारिक आंकड़ों से कहीं ज्यादा हैं। उन्होंने कहा, 'ऐसा हो सकता है कि संक्रमण के मामले पॉजिटिव निकल रहे कोविड टेस्ट से ज्यादा हो, लेकिन मौतों के मामले में ऐसा नहीं हो सकता है। मौत के मामलों के दर्ज होने में देरी हो सकती है, लेकिन ऐसी किसी राज्य का केंद्र की मंशा नहीं है। संक्रमितों में हमारी मृत्यु दर 0.05 फीसदी है। उन्होंने 0.03 फीसदी बताई है। क्यों? वे किस आधार पर कह रहे हैं कि उतने संक्रमितों में 0.03 मृत्यु दर है। इसका कोई प्रामाणिक आधार नहीं है।'

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डॉ पॉल ने इस दौरान अमेरिका के कोविड-19 डेटा पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा, 'अगर मैं यही फॉर्मूला न्यूयॉर्क पर लागू करूं तो। मई में न्यूयॉर्क में मौतों को 16 हजार बताया और वे लोग खुश हो रहे हैं कि उनका मॉर्टिलिटी रेट 0.97% है। अगर हम इसे 3 गुना करें तो 50 हजार मौतें, 6 गुना करें तो 90 हजार और अगर 12 गुना कर दें तो 1.75 लाख मौतें होती हैं।' न्यूयॉर्क टाइम्स ने अपने रिपोर्ट में यह भी अनुमान लगाया है कि भारत में कोरोना से संक्रमित हुए लोगों की कुल संख्या 40 से 70 करोड़ के बीच हो सकती है।