बॉन्ड के नंबरों का खुलासा क्यों नहीं किया, इलेक्टोरल बॉन्ड केस में SC का SBI को नोटिस

कोर्ट ने कहा कि 11 मार्च के फैसले में स्पष्ट कहा गया था कि बॉन्ड की पूरी डिटेल खरीदी की तारीख, खरीदार का नाम, कैटेगरी समेत दी जाए, लेकिन SBI ने यूनीक अल्फा न्यूमेरिक नंबर्स का खुलासा नहीं किया है।

Updated: Mar 15, 2024, 01:36 PM IST

नई दिल्ली। इलेक्टोरल बॉन्ड मामले में सुप्रीम कोर्ट ने स्टेट बैंक ऑफ इंडिया को फिर से फटकार लगाते हुए नोटिस जारी किया है। अदालत ने बैंक से पूछा है कि बॉन्ड नंबरों का खुलासा क्यों नहीं किया गया। बैंक ने अल्फा न्यूमिरिक नंबर क्यों नहीं बताया? अदालत ने एसबीआई को बॉन्ड नंबर का खुलासा करने का आदेश दिया है।

दरअसल, चुनाव आयोग द्वारा जारी डेटा में यह स्पष्ट नहीं है कि इन कंपनियों ने किस दल को कितने पैसे दिए। दोनों लिस्ट में बॉन्ड खरीदने वालों और इन्हें इनकैश कराने वालों के तो नाम हैं, लेकिन यह पता नहीं चलता कि किसने यह पैसा किस पार्टी को दिया?

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि चुनाव आयोग की वेबसाइट पर अपलोड करने के लिए यह डेटा जरूरी है। सुप्रीम कोर्ट का कहना है कि बॉन्ड नंबरों से ही पता चल सकेगा कि किस दानदाता ने किस पार्टी को चंदा दिया। अब मामले में अगली सुनवाई सोमवार को यानी कि 18 मार्च को होगी। पहले इस मामले पर आज ही सुनवाई होनी थी और इसकी लाइव स्ट्रीमिंग भी की जानी थी। लेकिन अब सोमवार को मामले पर सुनवाई होगी।

इलेक्टोरल बॉन्ड 1 लाख रुपये, 10 लाख रुपये और 1 करोड़ रुपये के खरीदे गए हैं। हालांकि, दी गई जानकारी में ये पता लगाने का कोई तरीका नहीं है कि किस कंपनी ने किस पार्टी को डोनेशन दिया है। जबकि कोर्ट ने 11 मार्च के फैसले में स्पष्ट कहा था कि बॉन्ड की पूरी डिटेल खरीदी की तारीख, खरीदार का नाम, कैटेगरी समेत दी जाए, लेकिन SBI ने यूनीक अल्फा न्यूमेरिक नंबर्स का खुलासा नहीं किया है।