मत खरीदें टीवी-फ्रिज और कार क्योंकि आनेवाली है आर्थिक मंदी, बुरे वक़्त के लिए बचाएं पैसे: जेफ बेजोस

अमेजन के फाउंडर जेफ बेजोस ने चेतावनी दी है कि दुनिया में जल्द ही आनेवाली है आर्थिक मंदी, इसलिए लोगों को त्योहारों के मौक़े पर गाड़ी, फ्रिज और कार आदि खरीदने में अपने पैसे बरबाद नहीं करने चाहिए, बल्कि बुरे वक्त के लिए इसे बचाकर रखना चाहिए

Updated: Nov 21, 2022, 05:41 AM IST

अमेज़न के फाउंडर जेफ बेजोस ने दुनियाभर में आने जा रही आर्थिक मंदी की चेतावनी दी है। बोजोस ने यह भी कहा है कि लोग व्यर्थ के सामानों पर खर्च करने की बजाय अपने पैसे को बुरे वक्त के लिए बचाकर रखें। उन्होंने सलाह दी है कि लोग त्योहार के सीजन में टीवी, फ्रिज और कार जैसी उपभोग की वस्तुओं पर अनाप-शनाप खर्च न करें और कैश बचाकर रखें। दुनिया के सबसे अमीर लोगों में शुमार बेजोस को वैश्विक आर्थिक मंदी की चिंता है, उन्होंने कहा है कि अब लोगो को बुरे दिन देखने के लिए मानसिक रूप से तैयार होना होगा।

CNN के साथ एक इंटरव्यू में बेजोस ने कहा कि लोगों को आनेवाले दिनों में कोई बड़ी खरीदारी नहीं करनी चाहिए, जैसे कि नया रेफ्रिजरेटर, या फिर ब्रांड न्यू कार आदि। यह पैसा मंदी के दौरान कठिन समय में आपके काम आएगा। बेजोस ने कहा, 'यदि आप अकेले रहते हैं और आप एक बड़ी स्क्रीन वाला टीवी खरीदने के बारे में सोच रहे हैं तो आपको रुकना चाहिए, उस कैश को अपने पास रखें और देखें कि क्या होता है। रेफ्रिजरेटर, नई कार, या कुछ और खरीदने में पैसे खर्च मत करें।'

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यही नहीं, अमेज़न के पूर्व सीईओ रहे बेजोस ने सुझाव भी दिया है कि छोटे बिजनेस करनेवाले भी सचेत रहें। ऐसे लोगों को नए उपकरण में निवेश करने की बजाय नकदी को अपने पास सुरक्षित कर लेना चाहिए। वे कहते हैं कि लोगों को ऐसे वक्त में जोखिम उठाने से बचने की जरूरत है। और वे जितना कम हो सके, उतना जोखिम उठाएं… अच्छे के लिए आशा करें, लेकिन सबसे बुरे के लिए तैयार रहें।'

जेफ बेजोस ने स्पष्ट रूप से कहा कि साल 2023 में अमेरिका समेत पूरी दुनिया में मंदी आ सकती है। ऐसे में आमलोग अगर पैसे बचाकर रखेंगे तभी इससे उबर पाएंगे अन्यथा बुरे दौर का सामना करना पड़ेगा। स्पष्ट है कि वैश्विक बाजार में मंदी की आहट सुनाई पड़ने लगी है। ट्विटर और मेटा जैसी दिग्गज कंपनियों ने बड़े स्तर पर अपने कर्मचारियों की छंटनी कर दी है। घरेलू बाजार की बात करें तो फूड डिलीवरी कंपनी जोमैटो ने भी सौ से अधिक कर्मचारियों को नौकरी से निकाल दिया है। सभी कंपनियां कॉस्ट कटिंग का हवाला देकर कर्मचारियों को नौकरी से निकाल रही हैं। स्पष्ट है कि कोविड काल के बाद से लगातार स्ट्रेस झेल रही दुनिया की बड़ी कंपनियां अब आर्थिक मोर्चे पर मंदी के लिए तैयार हो रही है।