CM शिवराज को डॉक्टर्स की आखिरी चेतावनी, मांगें पूरी नहीं हुई तो 17 फरवरी से हड़ताल पर जाएंगे 12 हजार डॉक्टर्स

प्रदेश भर में डॉक्टरों ने संपर्क यात्रा निकाली जो 38 जिलों से होते हुए भोपाल के गांधी मेडिकल कॉलेज में समाप्त हुआ। इसके बाद डॉक्टरों ने राज्य सरकार को अंतिम चेतावनी देते हुए 17 फरवरी से हड़ताल का ऐलान कर दिया है।

Updated: Feb 09, 2023, 01:16 PM IST

भोपाल। मध्य प्रदेश में एक बार फिर से मेडिकल सेवाएं प्रभावित हो सकती हैं। प्रदेश भर के डॉक्टरों ने 17 फरवरी से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने का फैसला किया है। डॉक्टरों ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को आखिरी चेतावनी देते हुए कहा है कि 17 फरवरी से पहले यदि उनकी मांगें पूरी नहीं हुईं तो राज्य के 12 हजार डॉक्टर अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले जाएंगे।

दरअसल, मध्य प्रदेश में डॉक्टरों के सामने कई तरह की समस्याएं हैं। लंबे समय से डॉक्टरों की समस्याओं का समाधान नहीं हुआ है जिसको लेकर चिकित्सा बचाओ संपर्क यात्रा निकाली गई थी। 38 जिलों से होते हुए भोपाल के गांधी मेडिकल कॉलेज में समाप्त हुई। यहां डॉक्टरों ने तय किया कि वे 15 फरवरी से काली पट्टी बांधकर विरोध जताएंगे जिसके बाद 17 फरवरी से प्रदेश भर में अनिश्चितकालीन काम बंद हड़ताल करेंगे।

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मध्य प्रदेश प्रोग्रेसिव मेडिकल टीचर्स एसोसिएशन के मुख्य संयोजक डॉ राकेश मालवीय का कहना है कि मध्य प्रदेश में लंबे समय से डॉक्टरों का प्रमोशन रुका है। वेतन विसंगतियां भी हैं। सही समय पर डॉक्टरों की पदोन्नति भी नहीं हुई है। DACP लागू करने, पुरानी पेंशन बहाली और मेडिकल वर्क में अधिकारियों के दखल अंदाजी जैसी मांगों को लेकर सभी डॉक्टर आंदोलन पर हैं। प्रदेश भर के सभी डॉक्टर सरकार की नीतियों से संतुष्ट नहीं हैं। बीते 5 सालों से डॉक्टरों की समस्याओं को कोई समाधान नहीं हुआ है, इसलिए संपर्क यात्रा की शुरुआत हुई। 

मालवीय ने बताया कि 15 फरवरी को डॉक्टर सभी सरकारी अस्पतालों में काली पट्टी बांधकर काम कर विरोध जताएंगे। 16 फरवरी को पूरे प्रदेश के सभी शासकीय स्वशासी चिकित्सक 2 घंटे के लिए चिकित्सीय कार्य को बंद रखेंगे। 17 फरवरी से प्रदेश भर के 10,000 से ज्यादा डॉक्टर अनिश्चितकाल के लिए कामकाज बंद रखेंगे। ऐसे में यदि सरकार ने डाक्टरों की बात नहीं मानी तो हड़ताल से अस्पतालों में परेशानी खड़ी हो सकती है।