PFI पर लगा 5 साल का बैन, ऑल इंडिया इमाम काउंसिल समेत 8 और संगठनों पर भी एक्शन

केंद्र सरकार ने आखिरकार PFI को प्रतिबंधित घोषित कर दिया है, टेरर लिंक के आरोप में गृहमंत्रालय ने बुधवार को यह कार्रवाई की है, PFI से जुड़े 8 और संगठनों को भी प्रतिबंधित किया गया है।

Updated: Sep 28, 2022, 08:19 AM IST

नई दिल्ली। टेरर फंडिंग मामले की जांच का सामना कर रहे PFI यानी पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया पर बैन लगा दिया गया है। बुधवार सुबह गृहमंत्रालय ने यह बड़ी कार्रवाई की। गृह मंत्रालय ने पीएफआई को 5 साल के लिए प्रतिबंधित संगठन घोषित किया है। पीएफआई के अलावा उसके 8 सहयोगी संगठनों पर भी कार्रवाई की गई है।

गृह मंत्रालय द्वारा जारी अधिसुचना में कहा गया है कि पीएफआई और उसके सहयोगी संगठनों या मोर्चों को गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) के तहत तत्काल प्रभाव से गैरकानूनी संघ घोषित किया गया है। स्टूडेंट्स इस्लामिक मूवमेंट ऑफ इंडिया (सिमी), जमात-उल-मुजाहिदीन बांग्लादेश (जेएमबी) और इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड सीरिया (आईएसआईएस) के साथ संबंधों का हवाला देते हुए सरकार ने पीएफआई पर प्रतिबंध लगाया है।

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अधिसूचना में कहा गया है कि पीएफआई और उसके सहयोगी गैरकानूनी गतिविधियों में लिप्त हैं, जो देश की अखंडता, संप्रभुता और सुरक्षा के लिए हानिकारक हैं, और उनके पास सार्वजनिक शांति और सांप्रदायिक सद्भाव को बिगाड़ने की क्षमता है।

PFI के अलावा रिहैब इंडिया फाउंडेशन (RIF), कैंपस फ्रंट ऑफ इंडिया (CFI), ऑल इंडिया इमाम काउंसिल (AIIC), नेशनल कॉन्फेडरेशन ऑफ ह्यूमन राइट्स ऑर्गनाइजेशन (NCHRO), नेशनल वीमेन फ्रंट, जूनियर फ्रंट, एम्पावर इंडिया फाउंडेशन और रिहैब फाउंडेशन, केरल जैसे सहयोगी संगठनों पर भी बैन लगाया गया है।

NIA, ED और राज्यों की पुलिस ने 22 और 27 सितंबर को PFIऔर उससे जुड़े संगठनों पर ताबड़तोड़ छापेमारी की थी। पहले राउंड की छापेमारी में 106 PFI से जुड़े लोग कार्यकर्ता हुए थे। 27 सितंबर को दूसरे राउंड की छापेमारी में 250 PFI से जुड़े लोग गिरफ्तार/हिरासत में लिए गए। जांच एजेंसियों को PFI के खिलाफ पर्याप्त सबूत मिले। इसके बाद यह कार्रवाई की गई।