CG: ताबड़तोड़ एनकाउंटर के बीच नक्सलियों ने घुटने टेके, सरकार को दिया शांतिवार्ता का प्रस्ताव

छत्तीसगढ़ में नक्सली बैकफुट पर नजर आ रहे हैं, बस्तर में लगातार चल रहे अभियान के बीच नक्सलियों ने शांति वार्ता का प्रस्ताव दिया है और कहा है कि हम युद्धविराम को तैयार हैं।

Updated: Apr 02, 2025, 06:57 PM IST

बस्तर। छत्तीसगढ़ के साथ-साथ पड़ोसी राज्यों में नक्सलियों को लग रहे एक के बाद एक झटकों के बीच वे बैकफुट पर आ गए हैं। उन्होंने केंद्र सरकार को शांति वार्ता का प्रस्ताव दिया है। नक्सली संगठनों ने कहा है कि सरकार ऑपरेशन रोके तो हम युद्धविराम को तैयार हैं।

रिपोर्ट्स के मुताबिक नक्सलियों के सेंट्रल कमेटी की बैठक हैदराबाद में हुई। इसके बाद नक्सलियों के प्रवक्ता ने एक पर्चा जारी कर सरकारों से शांति वार्ता की पहल की है। नक्सलियों की सेंट्रल कमेटी ने कहा कि 15 महीने में हमारे 400 साथियों को मारा गया है। केंद्र और राज्य सरकारें ऑपरेशन रोकें तो हम बात करेंगे।

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दरअसल छत्तीसगढ़ में नक्सलियों के खिलाफ ताबड़तोड़ अभियान चल रहा है। इसमें कई बड़े कैडर के नक्सली ढेर हुए हैं। इससे नक्सलियों को बड़े झटके लगने लगे हैं और नक्सलवाद कमजोर पड़ रहा है। नक्सल संगठन में भारी हड़कंप मचा हुआ है। इस बीच केंद्रीय मंत्री अमित शाह 4 या 5 अप्रैल को दंतेवाड़ा जिले में आ रहे हैं।

अमित शाह के बस्तर प्रवास से पहले नक्सलियों ने अब पर्चा जारी किया है। तेलुगु भाषा में लिखे इस पर्चे में साफ तौर पर लिखा है कि वे शांति वार्ता को तैयार हैं। नक्सलियों की केंद्रीय समिति के प्रवक्ता अभय ने एक पर्चा जारी किया है। जिसमें उसने कहा है कि पिछले 15 महीनों में उनके 400 साथी मारे गए हैं। यदि राज्य और केंद्र सरकार नक्सलियों के खिलाफ ऑपरेशन रोकती है तो हम शांति वार्ता के लिए तैयार हैं।

नक्सली लीडर अभय ने पर्चे में कहा कि हम केंद्र और राज्य सरकार के सामने शांति वार्ता के लिएप्रस्ताव रख रहे हैं। हमारा प्रस्ताव है कि केंद्र और राज्य सरकारें झारखंड, मध्य प्रदेश ,छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र (गढ़चिरौली), ओडिशा और तेलंगाना में ऑपरेशन कगार के नाम पर हत्याओं और नरसंहार को रोकें। नए सशस्त्र बलों के कैंप की स्थापना रोकें। यदि केंद्र और राज्य सरकारें इन प्रस्तावों पर सकारात्मक प्रतिक्रिया देती हैं, तो हम तुरंत युद्धविराम की घोषणा कर देंगे।