MP: भोपाल में 371 करोड़ रुपए खर्च कर तैयार होगा EMCS, जनजातीय छात्रों को अब 12 माह की छात्रवृत्ति मिलेगी

मुरैना में बंद पड़ी शुगर मिल को आधुनिक तरीके से बनाया जाएगा। साथ ही प्रदेश में वैलनेस सेंटर, गीता भवन और आयुर्वेदिक महाविद्यालयों खोलने की घोषणा हुई हैं

Publish: Aug 19, 2025, 07:28 PM IST

Photo Courtesy: Naidunia
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भोपाल। मंगलवार को मध्य प्रदेश सरकार की कैबिनेट बैठक रखी गई। इस मीटिंग में सरकार ने विकास क्षेत्र में बढ़ावा देने के लिए अहम निर्णय लिए। सीएम डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में हुई बैठक में राजधानी भोपाल के अंदर 371.95 करोड़ की लागत से इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर बनाने की मंजूरी दी गई है। साथ ही अन्य विषयों पर भी बातचीत हुई। 

मुरैना में बंद पड़ी शुगर मिल को आधुनिक तरीके से बनाया जाएगा। साथ ही प्रदेश में वैलनेस सेंटर, गीता भवन और आयुर्वेदिक महाविद्यालयों खोलने की घोषणा हुई हैं। इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरिंग क्लस्टर भोपाल के बैरसिया स्थित ग्राम बांदीखेड़ी में खुलेगा। कुल 371 करोड़ का निवेश रहेगा। जिसमें केंद्र सरकार की तरफ से 146, राज्य सरकार 225 करोड़ रुपए का निवेश करेगी। यह क्लस्टर कुल 210.21 एकड़ भूमि पर स्थापित किया जाएगा। साथ विश्व स्तरीय बुनियादी ढांचा विकसित किया जाएगा। 

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वहीं बैठक के बाद मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि यह सभी परियोजनाएं भारत सरकार की प्राथमिकताओं के अनुरूप डिजिटल इंडिया और मेक इन इंडिया को साकार करने की दिशा में जरूरी कदम है। इसके अलावा प्रदेश भर में 5 आयुर्वेदिक महाविद्यालय खुलेंगे। इस मीटिंग में आदिवासी छात्र-छात्राओं के लिए भी महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए है। दरअसल आदिवासी छात्रावास में रहकर पढ़ाई करने वाले विद्यार्थियों के लिए 12 माह की छात्रवृत्ति दी जाएगी, पहले इसकी अवधि 10 महीने की थी।