इंदौर में संत रविदास और अंबेडकर प्रतिमा का अनादर, दिग्विजय सिंह ने पुलिस कमिश्नर से की कार्रवाई की मांग
मध्य प्रदेश के इंदौर में अंबेडकर की प्रतिमा को पैरों के नीचे जीप में रखकर ले जाए जाने का विरोध हो रहा है। पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने इसपर कड़ी आपत्ति जताई है।

भोपाल। देशभर में बाबा साहेब अंबेडकर को लेकर इन दिनों सियासत गर्म है। कांग्रेस पार्टी 27 जनवरी को अंबेडकर की जन्मस्थली महू में रैली करने वाली है। इससे पहले इंदौर में संत रविदास और अंबेडकर की प्रतिमा का अपमान किए जाने का मामला सामने आया है। पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने इसपर कड़ी आपत्ति जताई है।
आरोप है कि जिला प्रशासन और नगर निगम ने बिना नोटिस के ही संत रविदास और अंबेडकर की प्रतिमाएं इंदौर के विधानसभा-5 स्थित आरई-2 से हटाया है। इतना ही नहीं दोनों की प्रतिमाओं को जीप में पैरों के नीचे रखकर ले जाया गया। इसका वीडियो भी सामने आया है। इसे लेकर पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने नाराजगी जाहिर की है और कहा है कि आज वे मौके पर जाएंगे।
यह भी पढे़ं: इंटरनेट पर बलात्कारी सर्च करने पर 100 में 90 नाम भाजपाइयों के आएंगे: जीतू पटवारी
उन्होंने एक एक्स पोस्ट में लिखा, '23.1.2025 को आर आई -2 रोड इंदौर बचपन स्कूल के सामने संत शिरोमणि रविदास जी महाराज व डॉक्टर भीमराव अंबेडकर जी की मूर्ति को जूनी इंदौर तहसील प्रशासन द्वारा बिना किसी नोटिस के नगर निगम इंदौर के साथ साठगांठ कर हटा दिया गया है।'
सिंह ने आगे लिखा कि, 'इसका अनावरण इंदौर क्रमांक 5 के भाजपा विधायक महेंद्र हार्डिया द्वारा किया गया है। जिस प्रकार बाबा साहब की व रविदास जी की मूर्ति को पैरों में रख कर ले गए है उन पर इंदौर पुलिस कमिश्नर द्वारा कार्यवाही हो और बाबा साहब व रविदास जी महाराज की मूर्ति को पुनः स्थापित किया जाए। मैं आज सुबह मौके पर जा कर देखूँगा।'
पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण यादव ने भी घटना की निंदा की है। यादव ने ट्वीट किया, 'बापू, अम्बेडकर एवं संविधान विरोधी भाजपा कभी नहीं सुधर सकती है, इंदौर में नगर निगम कर्मचारियों अम्बेडकर जी की प्रतिमा को पैरों में रखकर अनादर किया, स्कीम नंबर 140 में रविदास समाज के लोगों ने धर्मशाला बनाने के लिये मूर्ति लगाई थी।'