भगवान राम के लिए सड़क से लेकर सदन तक लड़ेंगे, पीसीसी चीफ कमलनाथ ने भरी हुंकार

सिद्धा पहाड़ के खनन की अनुमति दिए जाने पर कमलनाथ ने जताई नाराजगी, बोले- खुद को धर्मप्रेमी बताने वाली शिवराज सरकार अपने व्यावसायिक हितों के लिये लगातार धार्मिक भावनाओं से खिलवाड़ वाले निर्णय लेती आयी है।

Updated: Aug 31, 2022, 01:02 PM IST

भोपाल। मध्य प्रदेश की शिवराज सरकार ने भगवान श्रीराम के प्रतिज्ञा स्थल "सिद्धा पहाड़" पर खनन की मंजूरी दे दी है। विपक्षी दल कांग्रेस ने राज्य सरकार के इस फैसले की तीखी आलोचना की है। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने कहा कि भगवान राम के लिए हम सड़क से लेकर सदन तक लड़ाई लड़ेंगे।

कमलनाथ ने ट्वीट किया, 'खुद को धर्मप्रेमी बताने वाली शिवराज सरकार अपने व्यावसायिक हितों के लिये लगातार धार्मिक भावनाओं से खिलवाड़ वाले निर्णय लेती आयी है। अब मध्यप्रदेश के सतना में स्थित सिद्धा पहाड़, जो कि राम वन गमन पथ पर स्थित है, जहाँ पर प्रभु श्री राम ने इस भूमि को निशाचरो से मुक्त करने की प्रतिज्ञा ली थी, उस पहाड़ को खनन हेतु खोदने की शिवराज सरकार ने प्रक्रिया प्रारंभ कर दी है।'

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कमलनाथ ने आगे लिखा कि, 'आस्था के केन्द्र इस सिद्धा पहाड़ को खोदने हेतु मध्य प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा लोक सुनवाई करने का निर्णय लिया गया है। यह वह पहाड़ है जिसका उल्लेख रामचरित मानस व वाल्मीकि रामायण में भी है कि राक्षसों द्वारा ऋषि मुनियो का वध करने के बाद उनके अस्थि समूह से बने ढेर से यह पहाड़ बना है।'

कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया कि, 'भगवान राम के नाम का राजनीति के लिये उपयोग करने वाली भाजपा सरकार अब उनके अवशेषों को सुनियोजित तरीक़े से नष्ट करने का काम कर रही है। कांग्रेस इस पर चुप नहीं बैठेगी, जन आस्थाओं के विरोधी इस निर्णय के विरोध में हम सड़क से सदन तक लड़ाई लड़ेंगे और भगवान श्री राम की यादों से जुड़े इस पहाड़ को नष्ट व ख़त्म नहीं होने देंगे।'