चुनाव पूर्व केंद्र ने फिर बढ़ाई लालू यादव की मुश्किलें, CBI को RJD चीफ के खिलाफ केस चलाने की दी अनुमति

लोकसभा चुनाव से पहले फिर हरकत में आई मोदी सरकार, केंद्रीय गृह मंत्रालय ने CBI को लालू यादव के खिलाफ केस चलाने की दी अनुमति

Updated: Sep 12, 2023, 04:56 PM IST

नई दिल्ली। INDIA गठबंधन के गठन के बाद से आरजेडी सुप्रीमो लालू यादव सुर्खियों में हैं। वे न सिर्फ मोदी सरकार का मुखर विरोध कर रहे हैं बल्कि विपक्षी दलों को एकजुट करने में जुटे हुए हैं। हालांकि, उन्हें जेल भेजने की कोशिशें एक बार फिर तेज हो गई है। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने सीबीआई को लैंड फोर जॉब स्कैम में लालू यादव के खिलाफ जांच करने की अनुमति दी है।

CBI ने मंगलवार को दिल्ली के राऊज एवेन्यू कोर्ट को बताया कि पूर्व केंद्रीय रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव के खिलाफ कथित लैंड फॉर जॉब्स केस में ताजा आरोप पत्र के संबंध में गृह मंत्रालय से मंजूरी मिल गई है। CBI ने बताया कि हमने लालू के अलावा रेलवे के 3 अधिकारियों के खिलाफ भी केस चलाने की मंजूरी मांगी थी, जो फिलहाल नहीं मिली है।

लैंड फॉर जॉब मामला तब का है, जब लालू यादव रेल मंत्री थे, इसलिए इसमें गृह विभाग से अनुमति की जरूरत थी। रिपोर्ट्स के मुताबिक लैंड फॉर जॉब्स मामले में यह नया केस है। पुराने केस में पहले ही राजद सुप्रीमो लालू यादव, बिहार की पूर्व CM राबड़ी देवी और बेटी और सांसद मीसा भारती जमानत पर हैं। नए केस में भी लालू और राबड़ी को आरोपी बनाया गया है।

दरअसल, लोकसभा चुनाव के पास आते ही एक बार फिर केंद्र की मोदी सरकार द्वारा उसी ताकत का इस्तेमाल किया जा रहा है जो अमूमन चुनाव के समय देखा जाता है। चुनाव के नजदीक आते ही बिहार के पूर्व सीएम लालू प्रसाद यादव पर दबाव बनाया जाने लगा है। सीबीआई ने पिछले महीने ही सुप्रीम कोर्ट में चारा घोटाले में लालू यादव को झारखंड हाईकोर्ट से मिली जमानत को चुनौती दी थी। सुप्रीम कोर्ट सीबीआई की याचिका पर 25 अगस्त को सुनवाई के लिए तैयार हो गया है।

इसके बावजूद अब सीबीआई अन्य मुद्दों में लालू यादव की मुश्किलें बढ़ा रही है। जानकारों का कहना है कि लालू यादव को किसी तरह से जेल भेजा जाए, ऐसी कोशिशें हैं। जाहिर सी बात है अगर लालू यादव चुनाव के दौरान जेल से बाहर रहे तो इसका असर चुनाव पर पड़ेगा वो चुनाव प्रचार करेंगे, जिसका नतीजा बीजेपी और एनडीए को बिहार में भुगतना पड़ सकता है। यही वजह है कि लालू यादव पर चुनाव से ठीक पहले इस तरह का दबाव बनाया जा रहा है।