दिग्गज कांग्रेस नेता व आंध्र प्रदेश के पूर्व सीएम के रोसैया का निधन, कांग्रेस में शोक की लहर
अविभाजित आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री थे कोनिजेती रोसैया, 88 साल की उम्र में ली अंतिम सांसें, पीएम मोदी ने जताया शोक

हैदराबाद। कांग्रेस के दिग्गज नेता व अविभाजित आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कोनिजेती रोसैया का निधन हो गया है। रिपोर्ट्स के मुताबिक 88 वर्षीय रोसैया ने शनिवार सुबह अपनी आखिरी सांसें ली। रोसैया के निधन से कांग्रेस पार्टी में शोक की लहर दौड़ गई है। पीएम मोदी समेत तमाम दिग्गज नेताओं ने रोसैया के निधन पर दुःख जताया है।
बताया जा रहा है कि बढ़ती उम्र के कारण कोनिजेती रोसैया लंबे समय से बीमार चल रहे थे। शनिवार सुबह उनकी तबियत ज्यादा बिगड़ने के बाद परिजन उन्हें एक प्राइवेट अस्पताल में लेकर जा रहे थे। हालांकि, रास्ते में ही उन्होंने दम तोड़ दिया। रोसैया के निधन की खबर फैलते ही आंध्र प्रदेश में शोक की लहर दौड़ गई।
प्रधानमंत्री नरेंद्र ने कोनिजेती रोसैया के साथ अपनी एक तस्वीर साझा कर दुःख प्रकट किया है। पीएम मोदी ने बताया कि गुजरात के मुख्यमंत्री रहते हुए उनसे मेरी बातचीत याद आती है, तब वे भी मुख्यमंत्री थे। बाद में वे जब तमिलनाडु के राज्यपाल बने तब भी उनसे बातें होती थी। उनका योगदान हमेशा याद रखा जाएगा।
Saddened by the passing away of Shri K. Rosaiah Garu. I recall my interactions with him when we both served as Chief Ministers and later when he was Tamil Nadu Governor. His contributions to public service will be remembered. Condolences to his family and supporters. Om Shanti. pic.twitter.com/zTWyh3C8u1
— Narendra Modi (@narendramodi) December 4, 2021
तेलंगाना के मुख्यमंत्री केसीआर ने रोसैया के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए कहा है कि वे एक ऐसे नेता थे जिन्होंने हर उस पद की शोभा बढ़ाई जिस पर वह आसीन हुए। इसके अलावा आंध्र प्रदेश की कांग्रेस इकाई, तमिलनाडु प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष रेवंत रेड्डी समेत कांग्रेस के कई दिग्गज नेताओं ने रोसैया के निधन पर शोक व्यक्त किया है।
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रोसैया की राजनीतिक यात्रा साल 1968 में विधान परिषद के सदस्य के रूप में शुरू हुई थी। वाईएसआर रेड्डी के निधन के बाद वह तीन सितंबर 2009 से 25 नवंबर 2010 तक आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे। उससे पहले वे लंबे समय तक प्रदेश के वित्त मंत्री रहे। बतौर वित्त मंत्री उन्हें रिकॉर्ड 15 बार राज्य का बजट पेश करने का गौरव प्राप्त है। रोसैया को दो महीने के लिए कर्नाटक का राज्यपाल बनाया गया था और बाद में वह 31 अगस्त 2011 से लेकर 30 अगस्त 2016 तक तमिलनाडु के राज्यपाल भी रहे।