Pali Rajasthan: जवाई डैम के किनारे ज़िन्दगी

राजस्थान के पाली ज़िले में सुमेरपुर शहर के पास जवाई नदी पर 1946 में जोधपुर महाराजा उम्मेद सिंह ने बांध का निर्माण कराया था। इस बांध के बनने से ना सिर्फ़ इलाक़े की बिजली की कमी दूर हुई बल्कि आसपास के इलाक़े में पानी की सप्लाई में भी मदद मिली। लेकिन इस इलाक़े में तेंदुए की मौजूदगी और बांध की वजह से बनी झील की ख़ूबसूरती ने हाल के दिनों में वन प्रेमियों और पर्यटकों का ध्यान खींचा है। स्थानीय समुदाय का रहन सहन और विदेशी पक्षियों का बड़ी तादाद में आना भी पर्यटकों को लुभा रहा है

Updated: Oct 09, 2020, 01:23 PM IST

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साइबेरियाई क्रेन ने भी बनाया अपना डेरा
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4. साइबेरियाई क्रेन ने भी बनाया अपना डेरा

जवाई बांध के किनारे बीते 3-4 सालों से विदेशी पक्षियों की तादाद बढ़ी है। नदी किनारे के खेतों में साइबेरियाई क्रेन के अनेक जोड़े देखने को मिल जाते हैं। जवाई बांध राजस्थान का एकमात्र ऐसा स्थान है, जहां साइबेरियाई क्रेन जिसे सारस क्रेन भी कहते हैं,का झुंड देखा जा सकता है। यह पक्षी दुनिया का सबसे बड़ा उड़नेवाली पक्षी माना जाता है। जिसकी आबादी लगातार कम हो रही है।