भारत में बच्चों के कोरोना टीकाकरण को मंजूरी, 2 से 18 साल के बच्चों को लगेगी Covaxin

भारत बायोटेक और ICMR द्वारा तैयार कोवैक्सीन लगाने का रास्ता साफ, बच्चों को मुफ्त लगाया जाएगा टीका, बड़ों की तरह ही बच्चों को भी लगेंगे दो डोज, जल्द जारी होंगी गाइडलाइन, पहले से बीमार बच्चों को दी जाएगी प्राथमिकता

Updated: Oct 12, 2021, 08:58 AM IST

Photo Courtesy: Amar ujala
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आखिरकार DGCI ने बच्चों को भी कोरोना वैक्सीन लगाने की मंजूरी दे दी है। इसी के साथ देशभर में 2 से 18 साल तक के बच्चों को कौवैक्सिन लगाने का रास्ता साफ हो गया है। जल्द ही सरकार बच्चों के कोरोना वैक्सिनेशन को लेकर गाइडलाइंस जारी करेगी। 

कोवैक्सीन भारत बायोटेक और ICMR ने मिलकर तैयार की है। कोवैक्सीन भारतीय कोरोना टीका है। जिसका क्लीनिकल ट्रायल्स 78 फीसदी असरदार साबित हुआ है। माना जा रहा है कि कोरोना की तीसरी लहर की आशंका और स्कूलों के खुलने की वजह से जल्द से जल्द इसे लेकर केंद्र सरकार गाइडलाइंस जारी करेगी। इसके बाद बच्चों का वैक्सीनेशन शुरू हो जाएगा। कोवैक्सीन के दो डोज बच्चों को लगाया जाएगा। क्लीनिकल ट्रायल में वैक्सीनेशन के बाद बच्चों को किसी तरह के नुकसान की बात सामने नहीं आई है।

बड़ों की ही तरह बच्चों को भी एक निश्चित अंतराल में कोवैक्सीन की दूसरी डोज लेनी होगी। पहले उन बच्चों के वैक्सीनेशन लगाई जाएगी जिनमें कोरोना संक्रमण का ज्यादा खतरा है। बच्चों के वैक्सीनेशन के साथ ही पूरी तरह से स्कूलों को खोलने में आसानी होगी। देश में कोरोना वैक्सीनेशन का काम युद्ध स्तर पर जारी है, अब तक रिकॉर्ड वैक्सीनेशन हो चुका है। देश में 18 साल से ऊपर के करीब 95 करोड़ लोगों का वैक्सीनेशन किया जा चुका है।

देश में सरकार की ओर से कोविशील्ड, कोवैक्सीन और स्पूतनिक की डोज दी जा रही है।कोरोना की थर्ड वेव की आशंका के बीच बच्चों के वैक्सीनेशन को मंजूरी एक बड़ी उपलब्धि माना जा रहा है।

भारत से पहले अमेरिका में मई से ही फाइजर की वैक्सीन लगाई जा रही है। वहां 12 साल से ज्यादा उम्र के सभी बच्चों का वैक्सीन की खुराक दी जा रही है। वहीं UK में 12 साल तक के बच्चों को फाइजर वैक्सीन लगाने की अनुमति दी गई है। जुलाई में परमीशन के बाद वहां पहले से किसी बीमारी से ग्रस्त याने children with morbidity को ही वैक्सीन लगाई जा रही है। इसी के साथ इजराइल, कनाडा माल्टा, चिली जैसे देशों में भी बच्चों को कोरोना से बचाव के लिए वैक्सीन दी जा रही है।