सच बोलने की मिली सज़ा, भ्रष्टाचार की शिकायत करने की वजह से मुझे हटाया गया: सत्यपाल मलिक

सत्यपाल मलिक ने कहा है कि उन्होंने गोवा का राज्यपाल रहते हुए यह देखा था कि गोवा की बीजेपी सरकार में भ्रष्टाचार काफी है, इसी शिकायत उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी से भी की थी, लेकिन उन्हें राज्यपाल के पद से हटा दिया गया था

Updated: Oct 26, 2021, 04:20 AM IST

नई दिल्ली। मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने बड़ा खुलासा किया है। उन्होंने एक निजी टीवी चैनल को दिए अपने इंटरव्यू में बताया है कि उन्हें बतौर गोवा का राज्यपाल सच बोलने की सजा दी गई। मलिक ने कहा कि उन्होंने गोवा की बीजेपी सरकार में व्याप्त भ्रष्टाचार को उजागर किया था, जिसके बाद उन्हें राज्यपाल के पद से हटा दिया गया। 

सत्यपाल मलिक ने कहा कि गोवा की सरकार ने जो कुछ भी किया उसमें भ्रष्टाचार था। मैं लोहियावादी हूं इसलिए भ्रष्टाचार को सहन नहीं कर सकता। भ्रष्टाचार के आरोप लगाने की वजह से ही मुझे हटा दिया गया। इतना ही नहीं सत्यपाल मलिक ने यह भी कहा कि गोवा सरकार में व्याप्त भ्रष्टाचार की जानकारी उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी को भी दी थी।

 मलिक ने गोवा की बीजेपी सरकार पर आरोप लगाया कि वह कोरोना से निपटने में पूरी तरह से नाकाम रही। सत्यपाल मलिक ने इसके लिए एयरपोर्ट के पास एक इलाके का उदाहरण दिया जहां खनन के लिए ट्रकों का इस्तेमाल होता है। मलिक ने कहा कि मैंने कोरोना पर लगाम लगाने के लिए सरकार से आग्रह किया था। लेकिन सरकार ने मेरी बात नहीं मानी। नतीजा यह हुआ कि बाद में वही जगह कोरोना का हॉटस्पॉट बन गई। 

किसान आंदोलन को लेकर हुई पीएम से चर्चा 

सत्यपाल मलिक ने हिंदी के एक प्रमुख अख़बार को दिए अपने साक्षात्कार में भी बड़ा खुलासा किया है। सत्यपाल मलिक ने कहा है कि किसान आंदोलन का असर यूपी चुनाव में थोड़ा बहुत दिखेगा, लेकिन इसका व्यापक स्तर अगले लोकसभा चुनावों पर दिखेगा। सत्यपाल मलिक ने कहा कि उन्होंने यह बात प्रधानमंत्री मोदी को भी बता दी है।