आदिवासी लोककला, संस्कृति का महापर्व भगोरिया
भगोरिया उत्सव में विवाह योग्य युवक, युवतियां अपने लिए जीवन साथी चुनते हैं, महाशिवरात्रि से होली तक मध्य प्रदेश में भगोरिया उत्सव की धूम रहेगी
4. भील राजा कागूमार और बलून ने की थी भगोरिया की शुरुआत
राजा भोज के शासनकाल के दौरान लगने वाले हाट-बाजारों को भगोरिया कहा जाता था। इसकी शुरूआत दो भील राजाओं कागूमार और बलून ने की थी। उन्होंने अपने-अपने इलाकों में भगोर मेलों की शुरुआत की थी। तभी से उनकी तर्ज पर दूसरे भील राजा भी अपनी रियासतों में इसका आयोजन करने लगे। अब यह पारंपरिक उत्सव भी मॉर्डन रूप लेता जा रहा है।