उन्नाव केस: शवों को दफनाने के किए JCB मंगाने पर ग्रामीणों का हंगामा, बड़ी संख्या में पुलिस तैनात

राहुल गांधी बोले, केवल दलित समाज नहीं, यूपी में महिला सम्मान को कुचल रही है सरकार, दिल्ली महिला आयोग प्रमुख स्वाती मालीवाल ने तीसरी लड़की को एयरलिफ्ट कर दिल्ली भेजने की मांग की

Updated: Feb 18, 2021, 10:39 AM IST

Photo Courtesy : Amar Ujala
Photo Courtesy : Amar Ujala

उन्नाव। उन्नाव में दो नाबालिग लड़कियों की मौत का मामला तूल पकड़ता जा है। प्रशासन मृतक किशोरियों के अंतिम संस्कार की तैयारी कर रहा है। खबरों के मुताबिक उन्हें दफनाने के लिए जेसीबी मशीन मंगाई गई तो ग्रामीण भड़क गए। पुलिस के रवैये से आक्रोशित ग्रामीणों ने ने प्रशासन का जमकर विरोध किया। गांववालों का कहना है कि जबतक पोस्टमार्टम रिपोर्ट नहीं आ जाती तबतक शवों को दफनाने नहीं देंगे।

घटना के बाद बबुरहा गांव में तनावपूर्ण माहौल को देखते हुए प्रशासन ने पूरे गांव को छावनी में तब्दील कर दिया गया है। बताया जा रहा है कि उन्नाव जनपद के नौ थानों की पुलिस गांव में तैनात कर दी गई है। गांव में 19 दरोगा और करीब सौ सिपाहियों की अतिरिक्त तैनाती की गई है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक उत्तरप्रदेश के पूर्व सीएम अखिलेश यादव भी आज पीड़ित परिवार से मिलने आ सकते हैं। गांव में भारी संख्या में भीम आर्मी के कार्यकर्ता भी पहुंच गए हैं।

रिपोर्ट्स के मुताबिक मृतक लड़कियों के परिजन मीडिया से न मिल पाएं इसलिए पुलिस ने उन्हें उठा लिया है। गांव से लेकर आसपास के इलाकों में चप्पे-चप्पे पर बैरिकेडिंग की गई है। परिजनों को पुलिस द्वारा उठाए जाने पर गांव के लोग धरने पर बैठ गए हैं। मौके पर मौजूद समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ता जेसीबी को रोकते हुए नारेबाजी कर रहे हैं।

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कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने उत्तरप्रदेश सरकार पर महिला सम्मान को कुचलने का आरोप लगाया है। उन्होंने ट्वीट किया, 'केवल दलित समाज को ही नहीं यूपी सरकार महिला सम्मान व मानवाधिकारों को भी कुचलती जा रही है। लेकिन वे याद रखें कि मैं और पूरी कांग्रेस पार्टी पीड़ितों की आवाज़ बनकर खड़े हैं और उन्हें न्याय दिलाकर ही रहेंगे।' 

भीम आर्मी चीफ चंद्रशेखर आजाद ने कहा है कि वह उन्नाव में हाथरस की घटना नहीं होने देंगे। उन्होंने ट्वीट किया, 'भीम आर्मी व आजाद समाज पार्टी की टीम रीजेंसी हॉस्पिटल कानपुर, जहाँ पीड़ित बेटी भर्ती है, वहाँ पहुँच चुकी है। सरकार जान ले उन्नाव में हम, हाथरस नही दोहराने देंगे।' 

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने पूछा है कि परिवार को नजरबंद करके सरकार को क्या होगा? उन्होंने अपने फेसबुक पोस्ट में लिखा, 'उन्नाव की घटना दिल दहला देने वाली है। लड़कियों के परिवार की बात सुनना एवं तीसरी बच्ची को तुरंत अच्छा इलाज मिलना जांच - पड़ताल एवं न्याय की प्रक्रिया के लिए बेहद जरूरी है। खबरों के अनुसार पीड़ित परिवार को नजरबंद कर दिया गया है। यह न्याय के कार्य में बाधा डालने वाला काम है। आखिर परिवार को नजरबंद करके सरकार को क्या हासिल होगा। यूपी सरकार से निवेदन है कि परिवार की पूरी बात सुने एवं त्वरित प्रभाव से तीसरी बच्ची को इलाज के लिए दिल्ली शिफ्ट किया जाए।' 

उन्नाव की घटना दिल दहला देने वाली है। लड़कियों के परिवार की बात सुनना एवं तीसरी बच्ची को तुरंत अच्छा इलाज मिलना जांच -...

Posted by Priyanka Gandhi Vadra on Wednesday, 17 February 2021

जिग्नेश मेवानी ने ट्वीट किया, 'उत्तर प्रदेश के सभी लोगों से मेरी अपील है की जब तक उन्नाव की दुर्घटना की पीड़ित बहनों के आरोपियों को गिरफ्तार नहीं किया जाता, तब तक उनकी लाश का स्वीकार न करें, न्याय के लिए दबाव बनाएं। एक बहन की अच्छे से अच्छे अस्पताल में चिकित्सा की जाए।' 

सामाजिक कार्यकर्ता डॉ कफील खान ने कहा कि पिछले अनुभवो से सीखते हुए हम सब की ये माँग है की तीसरी बच्ची को उत्तर प्रदेश के बाहर उचित इलाज के लिए शिफ़्ट किया जाए। 

उधर तीसरी लड़की की हालत अब भी गंभीर बताई जा रही है। घटनास्थल से जो एकमात्र लड़की जीवित बची है उसे बचाने के लिए सरकार पर दबाव बनाया जा रहा है। गांववालों की मांग है कि उसे एयरलिफ्ट कर दिल्ली एम्स भेजा जाए। दिल्ली महिला आयोग की प्रमुख स्वाति मालीवाल ने भी बच्ची को दिल्ली भेजने की मांग की है। उन्होंने ट्वीट किया है, 'उन्नाव की तीसरी बेटी को तुरन्त इलाज के लिए दिल्ली शिफ्ट किया जाए। हर हाल में बच्ची को बचाना है।' 

इस मामले में देशभर के लोगों में उत्तरप्रदेश की सत्तारूढ़ योगी आदित्यनाथ सरकार के खिलाफ आक्रोश व्याप्त है। ट्वीटर पर सेव उन्नाव की बेटी हैशटैग टॉप ट्रेंड है और ढाई लाख से ज्यादा लोगों ने खबर लिखे जाने तक बच्ची को बचाने के लिए आवाज बुलंद किया है।